
दमोह. शहर में श्निवार को चलाए गए चकाचक शहर अभियान ने एक दिन के लिए तो नगर का चेहरा बदल दिया था, लेकिन अगले ही दिन सबकुछ पहले जैसा नजर आने लगा। नगरपालिका द्वारा दो शिफ्टों में करीब 200 से अधिक कर्मचारियों को तैनात कर शहर को कचरा मुक्त करने का दावा किया गया था। मुख्य बाजारों, वार्डों, सड़कों और नालियों तक की सफाई कर अभियान को विशेष उपलब्धि बताया गया था। सोशल मीडिया पर भी कई लोगों ने स्वच्छ दमोह के हैशटैग के साथ तस्वीरें साझा की थीं।
यह चमक सिर्फ एक दिन की साबित हुई। रविवार की सुबह होते ही शहर के कई हिस्सों में फिर से कचरे के ढेर दिखाई देने लगे। घंटाघर के पास, मागंज स्कूल, धगट चौराहा रोड, बड़ापुल के पास, शिवाजी स्कूल के पास, इंद्रा कॉलोनी, पथरिया फाटक जैसे प्रमुख क्षेत्रों में गंदगी लौट आई। यहां रविवार को कचरे ढेर नजर आए।
वार्ड के सुरेंद्र असाटी, विजय रैकवार का कहना है कि सफाई अभियान यदि केवल दिखावे के लिए ही चलेगा, तो स्थायी सुधार की उम्मीद करना बेकार है। रवि गुप्ता ने कहा एक दिन तो शहर साफ दिखा, लेकिन दूसरे ही दिन हालात वैसे ही हो गए। यह तो कलेक्टर के प्रयासों को धक्का देने वाला काम है। जब तक नियमित मॉनिटरिंग और जवाबदेही तय नहीं होगी, तब तक शहर को वास्तव में चकाचकनहीं बनाया जा सकता।
नगरपालिका सीएमओ राजेंद्र सिंह लोधी का कहना है कि अभियान स्थाई रूप से जारी रखने का प्रयास किया जा रहा है, परंतु कर्मचारियों की कमी और संसाधनों की दिक्कतें इसमें बाधा बन रही हैं। रविवार को एक शिफ्ट होने के कारण भी कुछ जगहों पर कचरा एकत्र देखने मिल सकता है।
Published on:
11 Nov 2025 09:49 am
बड़ी खबरें
View Allदमोह
मध्य प्रदेश न्यूज़
ट्रेंडिंग
