
UP Pilibhit Car Accident Video, Car Pani Me Dub Jaye To Kya Kare (Image: Patrika.com)
UP Pilibhit Car Accident Video, Car Pani Me Dub Jaye To Kya Kare: उत्तर प्रदेश के पीलीभीत जिले का एक वीडियो सोशल मीडिया पर हर किसी की धड़कनें बढ़ा रहा है। दरअसल, टनकपुर हाइवे पर एक कार अनियंत्रित होकर गहरे तालाब में गिर गई, गनीमत रही कि वहां मौजूद नाविक फैसल और राहगीर दिनेश ने अपनी जान पर खेलकर ड्राइवर शुभम तिवारी को बचा लिया।
हालांकि, यह घटना सिर्फ एक हादसा नहीं, बल्कि कार चालकों के लिए एक बड़ी चेतावनी है। अक्सर ऐसे हादसों में जानकारी के अभाव और पैनिक (घबराहट) के कारण लोगों की जान चली जाती है। ऑटो एक्सपर्ट्स और सेफ्टी गाइडलाइन्स के मुताबिक, कार के पानी में गिरने पर शुरुआती 30 से 60 सेकंड सबसे अहम होते हैं।
जानिए पीलीभीत में आखिर हुआ क्या? फिर हम बात करेंगे उस 'एस्केप प्रोटोकॉल' (Escape Protocol) की, जो हर ड्राइवर को रटा होना चाहिए।
घटना गुरुवार सुबह की है। शुभम तिवारी अपनी कार से जा रहा था कि अचानक सामने आए एक बच्चे को बचाने के प्रयास में कार बेकाबू होकर गौहनियां चौराहे के पास तालाब में जा गिरी। कार 50 फीट गहरे पानी में समा रही थी। तभी तालाब में एक किनारे नाविक फैसल मछली पकड़ रहा था, ने शुभम को बचाने के लिए अपनी नाव कार की तरफ मोड़ दिया, हालांकि कार के डूबने के साथ-साथ नाव भी पलट गई। इसके बाद फैसल और दिनेश कुशवाहा ने अदम्य साहस दिखाते हुए पानी के भीतर संघर्ष कर शुभम को सुरक्षित बाहर निकाला।
गाड़ी पानी में गिरते ही लोग अक्सर घबरा जाते हैं और सबसे पहले दरवाजा खोलने की गलती करते हैं। ऑटो एक्सपर्ट्स के मुताबिक पानी के भारी दबाव के कारण दरवाजा खुलना नामुमकिन होता है। जानिए, ऐसी स्थिति में बचाव का सही तरीका क्या है?
जैसे ही कार पानी में गिरती है, बाहर का पानी दरवाजे पर भारी दबाव डालता है। अगर कार आधी भी डूबी हो तो दरवाजे पर इतना भार होता है कि अंदर से धक्का देकर खोलना एक सामान्य इंसान के लिए असंभव है। इसलिए, दरवाजा खोलने में अपनी ऊर्जा और कीमती समय बर्बाद न करें।
ग्लोबल सेफ्टी एक्सपर्ट्स डूबती कार से निकलने के लिए SWOC (Seatbelt, Window, Out, Children) प्रोटोकॉल को फॉलो करने की सलाह देते हैं।
S - Seatbelt Off (सीट बेल्ट हटाएं): पानी में गिरने के इम्पैक्ट से आप अपनी सीट पर लॉक हो सकते हैं। सबसे पहले अपनी सीट बेल्ट खोलें। अगर बकल (Buckle) जाम हो जाए तो उसे काटने के लिए कार में हमेशा एक 'ग्लास ब्रेकर-कम-कटर' टूल रखें।
W - Windows Open (खिड़की खोलें): यही आपका 'एग्जिट पॉइंट' है।
इलेक्ट्रिक विंडो: आधुनिक कारों के इलेक्ट्रॉनिक सर्किट पानी में गिरने के बाद भी कम से कम 1 से 2 मिनट तक काम करते हैं। तुरंत बटन दबाएं और शीशे नीचे करें।
अगर पावर फेल हो जाए: अगर बटन काम न करे, तो शीशे को तोड़ना ही एकमात्र विकल्प है।
O - Out (बाहर निकलें): जैसे ही खिड़की खुले या टूटे, तुरंत बाहर निकलें। गाड़ी के पूरी तरह भरने का इंतजार न करें।
C - Children First (बच्चों को पहले): अगर साथ में बच्चे हैं तो पहले उन्हें खिड़की से बाहर धकेलें, फिर खुद निकलें।
कार में दो तरह के कांच होते हैं।
विंडशील्ड (सामने का कांच): यह लैमिनेटेड ग्लास होता है, टूटने पर बिखरता नहीं है। इसे तोड़कर निकलना बेहद मुश्किल है। इस पर समय बर्बाद न करें।
साइड विंडो (खिड़की के कांच): यह टेम्पर्ड ग्लास होता है। यह जोर से मारने पर छोटे टुकड़ों में बिखर जाता है।
कैसे तोड़ें: अगर आपके पास हथौड़ी या टूल्स नहीं हैं तो हेडरेस्ट को सीट से निकालें। उसके नीचे लगी नुकीली लोहे की रॉड का इस्तेमाल करें।
ध्यान रखें: हेडरेस्ट की रॉड को कांच और दरवाजे के फ्रेम के बीच फंसाकर लीवर की तरह दबाएं या किनारों पर वार करें। किनारों पर ग्लास सबसे कमजोर होता है।
अंत में जरूरी बात: पीलीभीत का वीडियो एक सबक है। अपनी कार में ड्राइवर की सीधी पहुंच में (जैसे सेंटर कंसोल या डोर पॉकेट में) हमेशा एक अच्छी क्वालिटी का 'सेफ्टी हैमर' रखें। क्योंकि सीट बेल्ट लॉक होने पर डैशबोर्ड तक हाथ पहुंचना मुश्किल हो सकता है। यह 500 रुपये का टूल ऐसी स्थिति में आपकी और आपके परिवार की जान बचा सकता है।
Updated on:
30 Nov 2025 02:30 pm
Published on:
30 Nov 2025 02:29 pm
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