
दिग्विजय ने बिहार के नतीजों को रूस, चीन, उत्तर कोरिया के चुनावों जैसा बताया (image-source-ANI)
Digvijay singh- बिहार में एनडीए की जबर्दस्त जीत के बाद सरकार बनाने की कवायद तेज हो गई है। बीजेपी के नेतृत्व वाले गठबंधन ने 243 में से 202 सीटें जीती हैं। राजद, कांग्रेस और अन्य दलों के महागठबंधन का सफाया हो गया। कांग्रेस को सिर्फ़ 6 सीटें मिलीं हैं। हालांकि पार्टी नेता इस हार को पचा नहीं पा रहे हैं। वरिष्ठ कांग्रेस नेता और प्रदेश के पूर्व सीएम दिग्विजय सिंह ने बिहार चुनाव को उत्तर कोरिया, रूस और चीन के चुनावों जैसा बताया जहां "सभी वोट एक ही पार्टी को जाते हैं"। उन्होंने आरोप लगाया कि बीजेपी ने गड़बड़ी करके जीत हासिल की है।
कांग्रेस के राज्यसभा सांसद दिग्विजय सिंह प्रदेश के गुना के पास अवान गांव में शनिवार को मीडिया से मुखातिब हुए। उन्होंने एसआईआर पर फिर कटाक्ष किया। दिग्विजय सिंह ने चुनाव आयोग को कठघरे में खड़ा करते हुए कहा कि बिहार में 62 लाख नाम हटाए और 20 लाख नाम जोड़े। चुनाव आयोग ने यह स्पष्ट नहीं किया है कि किसके नाम हटाए गए और किसके जोड़े गए।
दिग्विजय सिंह ने कहा कि बिहार चुनाव के जो नतीजे सामने आए हैं वे उत्तर कोरिया, चीन और रूस के चुनावों जैसे हैं, जहां सारे वोट एक ही पार्टी को जाते हैं। उन्होंने कहा कि " वोटर को यह जानने का हक होना चाहिए कि उसका वोट इच्छित उम्मीदवार को मिला या नहीं! वोट की गिनती होनी चाहिए। एक रसीद मिलनी चाहिए जो यह बताए कि वोट कहां गया।"
पूर्व सीएम दिग्विजय सिंह ने कहा कि दुनियाभर में जहां भी वोटिंग में ईवीएम का उपयोग होता है, वहां बटन दबाने के बाद एक रसीद दी जाती है। उन्होंने कहा कि लोगों का ईवीएम पर भरोसा हो, यह चुनाव आयोग की ज़िम्मेदारी है।
विशेष गहन पुनरीक्षण यानि एसआईआर पर भी दिग्विजय सिंह ने चुनाव आयोग को घेरा। उन्होंने कहा कि मतदाता सूची में नाम जोड़ने की ज़िम्मेदारी चुनाव आयोग की है। " वे कह रहे हैं कि आप फ़ॉर्म भरें और अपने पिता, दादा का जन्म प्रमाण पत्र लाएं। जिसने मैट्रिक नहीं किया है वह प्रमाण पत्र कहां से लाएगा।"
दिग्विजय सिंह ने चुनाव आयोग पर प्रक्रिया को जटिल बनाने का आरोप लगाया। उन्होंने इसके लिए आधार का उपयोग करने की जरूरत जताई। दिग्विजय सिंह ने बताया कि सुप्रीम कोर्ट ऐसा कह चुका है पर आधार को शामिल नहीं किया। उन्होंने
पूछा कि आधार से पासपोर्ट बनता है, बैंक खाता खोला जा सकता है तो फिर यहां इसका इस्तेमाल क्यों नहीं किया जा रहा है?"
बिहार में एनडीए की जीत में जीविका दीदी को 10000 रुपए देने की योजना को अहम कारक बताया जा रहा है। इसपर दिग्विजय सिंह ने कहा, "यह जनता का ही पैसा है। आप एक हाथ से लोगों से पैसा ले रहे हैं और दूसरे हाथ से वापस दे देते हैं।"
बता दें कि बिहार के चुनाव परिणाम आने के बाद दिग्विजय सिंह ने यह भी कहा था कि जो शक था वही हुआ। उन्होंने अपने एक्स हेंडल पर लिखा था- ‘जो शक था, वही हुआ’। 62 लाख वोट कटे, जबकि 20 लाख वोट जुड़े, उसमें से 5 लाख वोट बिना एसआईआर फॉर्म भरे बांट दिए गए। गरीबों, दलितों और अल्पसंख्यक वर्ग के वोट कटे।’
Published on:
16 Nov 2025 03:21 pm
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