8 दिसंबर 2025,

सोमवार

Patrika LogoSwitch to English
home_icon

मेरी खबर

icon

प्लस

video_icon

शॉर्ट्स

epaper_icon

ई-पेपर

अब बिजली चमकने के ’20 मिनट’ पहले आएगा SMS, मिलेगी चेतावनी

MP News: मौसम विभाग की छत पर लगाया गया यह सेंसर बिजली चमकने के 20-45 मिनट पहले चेतावनी देगा।

2 min read
Google source verification

सागर

image

Astha Awasthi

Dec 08, 2025

Indian Meteorological Department (Photo Source- freepik)

Indian Meteorological Department (Photo Source- freepik)

MP News: एमपी के सागर जिले में आइआइटीएम पुणे की तरफ से एलएलएन लाइटिंग सेंसर लगाए गए हैं। यह उपकरण बिजली गिरने का पता लगाता है और चेतावनी जारी करता है, ताकि लोगों को पहले से सूचित किया जा सके और नुकसान से बचाया जा सके। सिविल लाइन स्थित मौसम विभाग की छत पर लगाया गया यह सेंसर बिजली चमकने के 20-45 मिनट पहले चेतावनी देगा और शहर से 40 किमी की रेंज को कवर करेगा।

सेंसर जीपीएस से लैस है जो सूचना सीधे सेटेलाइट को देगा, जहां से भारतीय मौसम विज्ञान विभाग इन सूचनाओं को अपने वेदर बुलेटिन के माध्यम से राज्य सरकार को समय-समय पर बताता है। इसके अलावा भारतीय मौसम विज्ञान विभाग ने एक मोबाइल एप दामिनी तैयार किया है। यह एप 20-45 मिनट पहले बज्रपात की सूचना दे देगा। इसके लिए लोगों को दामिनी एप इंस्टॉल करना पड़ेगा।

ऐसे काम करता है सेंसर

सेंसर एक विस्तृत आवृत्ति रेंज में बिजली चमकने से निकलने वाले विद्युत चु्बकीय संकेतों को पकड़ते हैं। कई सेंसर पर सिग्नल आगमन के सटीक समय अंतर को मापकर, बिजली के स्थान की गणना की जाती है। कुछ प्रणालियां दिशा खोजक का भी उपयोग करती हैं। एक केंद्रीय प्रणाली नेटवर्क से डेटा प्रोसेस करके बिजली गिरने की पहचान और स्थान का पता लगाती है और शोर को वास्तविक बिजली से अलग करती है।

ऐसे करें डाउनलोड

दामिनी एप गूगल प्ले स्टोर से डाउनलोड कर सकते हैं। डाउनलोड करने के बाद पंजीकरण करना होता है। इसके लिए आपको अपना नाम, लोकेशन आदि देना होगा। यह जानकारियां देने के साथ ही यह दामिनी एप काम करना शुरू कर देता है। लोकेशन के 40 किलोमीटर के दायरे में बिजली गिरने की चेतावनी ऑडियो मैसेज और एसएमएस से देता है।

ये हैं मुख्य विशेषताएं

आधुनिक एलएलएन उच्च सटीकता रखता है। बिजली के खतरों के लिए तत्काल अलर्ट देता है। बादल से जमीन और बादल में बिजली की चमक दोनों प्रकार की चमक का पता लगाता है, जो तूफान की गतिशीलता को समझने के लिए महत्वपूर्ण है। जब बिजली गिरती है, तो डिटेक्टर बिजली की दूरी, दिशा और तीव्रता निर्धारित करने के लिए संकेत का विश्लेषण करता है।

प्रदेश में यह सेंसर मात्र 6 महानगरों में लगे थे, सातवां सेंसर सागर में लगाया गया है। बिजली गिरने की चेतावनी संदेश के लिए लोगों को पहले दामिनी एप इंस्टॉल करना होगा। - विवेक छलोत्रे, मौसम विज्ञानी और प्रभारी अधिकारी सागर।