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तीन एकड़ पथरीली जमीन पर रोपे एक हजार फलदार पौधे, नियमित देखभाल से बनने लगे वृक्ष

ड्रिप सिस्टम से कर रहे सिंचाई, कुछ पेड़ों में आने लगे हैं फल, फलदार के साथ औषधीय पौधे हैं शामिल

One thousand fruit trees were planted on three acres of rocky land, and with regular care, they began to grow into trees.
खेत में रोपे गए पौधे, जो पेड़ बनने लगे हैं

बीना. ग्राम बमोरीकेला में एक किसान ने अपनी तीन एकड़ पथरीली जमीन पर करीब एक हजार फलदार पौधे रोपे हैं। कम पानी में पौधे हरेभरे रहें, इसके लिए ड्रिप सिस्टम लगाया गया है।
किसान सत्यजीत सिंह ने बताया कि पथरीली जमीन का उपयोग पौधरोपण में किया है। उद्यानिकी विभाग की एकीकृत बागवानी योजनांतर्गत 2022-2023 में 4 वर्ष पूर्व एक हजार से ज्यादा फलदार पौधे रोपे थे। इस जमीन में पानी की बहुत कमी है और इसके लिए आसपास के किसानों का सहयोग लेते हुए लगातार देखभाल की जा रही है। पानी की बचत के लिए ड्रिप सिस्टम से बूंद-बूंद पानी दे रहे हैं। साथ ही जैविक खाद का उपयोग किया जा रहा है। सभी पौधे सुरक्षित हैं और बहुत से पौधे फल देने लगे हैं। किसान ने लोगों से अधिक से अधिक पौधारोपण करने की भी अपील की है, जिससे पर्यावरण सुरक्षित रहे। साथ ही फलदार पौधों से आय भी होगी।

इन पौधों का किया गया रोपण
किसान ने आम, जामुन, अमरूद, नींबू, बैतूल, चीकू, बेर, बेल, सागौन, अंजीर, मुनगा, पीपल, बरगद, बांस, मौसम्बी सहित औषधीय पौधे रोपे हैं। किसान ने बताया कि ऐसी पथरीली जमीन में सबसे अच्छी स्थिति में जामुन, अनार, कटहल, आम, आदि हैं। समय-समय पर निदाई, गुड़ाई की जाती है।

पेड़ों के बीच लगा रहे फसल
पेड़ों के बीच में जो अंतर है, उसमें कोदों, अरहर, मक्का जैसी फसल लगा रहे हैं और जैविक गेहूं का उत्पादन भी किया जा रहा है। इस जगह को किसान द्वारा फ्रूटोरेंट के रूप में विकसित किया जा रहा है, जहां लोग घूमने भी जा सकते हैं।