
Myopia Control Glasses for Kids (Photo- freepik)
Myopia Control Glasses for Kids: ज्यादातर बच्चों को जिंदगी में कभी न कभी चश्मा लग ही जाता है। पहली बार चश्मा पहनना कई बच्चों के लिए बड़ी बात होती है। लेकिन क्या हो अगर यही चश्मा बच्चों की नजर खराब होने से रोकने में भी मदद करे? अब यह संभव हो गया है। अमेरिका की FDA ने सितंबर में एक ऐसी नई चश्मे की टेक्नोलॉजी को मंजूरी दी है, जो बच्चों में बढ़ती मायोपिया (नजदीक की चीज साफ, दूर की धुंधली) को काफी हद तक धीमा कर सकती है। ये लेंस पहले यूरोप, एशिया और कई देशों में इस्तेमाल हो रहे थे, और अब अमेरिका में भी उपलब्ध हैं।
मायोपिया यानी दूर की चीज़ें साफ न दिखना। आजकल बच्चों में यह बहुत तेजी से बढ़ रहा है। वजह भी साफ है, ज्यादा समय तक स्क्रीन देखना, मोबाइल, टैब, टीवी, लंबा समय घर के अंदर रहना, आउटडोर गतिविधियों की कमी होना शामिल है।अमेरिका में ही 30 से 40% बच्चे हाई स्कूल तक पहुंचते-पहुंचते मायोपिया से प्रभावित हो जाते हैं। निकले हुए रिसर्च बताती है कि आने वाले सालों में यह समस्या और बढ़ेगी, खासकर शहरी बच्चों में।
इन नए चश्मों का नाम है Essilor Stellest lenses। FDA ने इन्हें खासतौर पर 6 से 12 साल के बच्चों के लिए मंजूरी दी है।कंपनी के अनुसार 2 साल तक लगाने पर बच्चों में मायोपिया बढ़ने की गति 70% तक धीमी हुई। आंख का आकार सामान्य से ज्यादा लंबा होने से रोका गया।
लेंस के अंदर 11 रिंग्स होती हैं जिनमें छोटे-छोटे डॉट्स बने होते हैं। ये डॉट्स रोशनी को ऐसे दिशा में मोड़ते हैं कि आंख की लम्बाई बढ़ने की प्रक्रिया धीमी हो जाती है। सीधे शब्दों में यह चश्मा सिर्फ नंबर ठीक नहीं करता, बल्कि नंबर बढ़ने की स्पीड भी कम करता है।
अब तक डॉक्टर ने बताया है कि “चश्मा पहनना पड़ेगा और नंबर धीरे-धीरे बढ़ेगा, यही इलाज है।” FDA ने मायोपिया रोकने के लिए इससे पहले केवल एक चीज मंजूर की थी। MiSight Contact Lenses (8-12 साल के बच्चों के लिए) लेकिन छोटे बच्चों को कॉन्टैक्ट लेंस लगाना पैरेंट्स के लिए मुश्किल होता है। इसलिए डॉक्टर कह रहे हैं कि नए Stellest चश्मे ज्यादा practical और safe हैं। कुछ डॉक्टर कम मात्रा वाली एट्रोपिन ड्रॉप्स भी देते हैं, लेकिन वे FDA-approved नहीं हैं।
6 से 12 साल के बच्चे को ये चश्मा पहनाया जा सकता है। जिनकी दूर की नजर कमजोर है। जिनका मायोपिया हर साल बढ़ता जा रहा है। जिनके परिवार में मायोपिया है। इसके Side effects बहुत हल्के पाए गए, कुछ बच्चों को हल्के “हेलो” दिखाई दिए, जो सामान्य है।
कंपनी के मुताबिक इसकी कीमत लगभग 450 डॉलर (भारतीय बाजार में आने पर 20-25 हजार रुपये के आसपास हो सकती है)। अमेरिका में ज्यादातर vision insurance इसे कवर कर रही है।
अगर मायोपिया ज्यादा बढ़ जाए, तो आगे चलकर रेटिना फटना, ग्लूकोमा, मोतियाबिंद, रेटिनल डिटैचमेंट (अंधेपन तक का जोखिम) का खतरा बढ़ता है। नए लेंस इन खतरों को काफी हद तक कम करने में मदद कर सकते हैं। अगर आप पैरेंट हैं और आपका बच्चा मोबाइल, स्क्रीन ज्यादा देखता है या पहले से चश्मा पहनता है, तो यह नई टेक्नोलॉजी भविष्य में उसकी आंखों को गंभीर नुकसान से बचाने में मदद कर सकती है।
Published on:
02 Dec 2025 10:24 am
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